NIT Tiruchirappalli: आखिर क्यों है यह संस्थान उच्च शिक्षा के लिए प्रसिद्ध?
तिरुचिरापल्ली/नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी तिरुचिरापल्ली भारत में स्थित एक प्रमुख तकनीकी संस्थान है। यह तमिलनाडु राज्य के तिरुचिरापल्ली शहर में स्थित है। एनआईटी तिरुचिरापल्ली भारतीय सरकार द्वारा संचालित एनआईटी संस्थानों में से एक है।
यह एक सरकारी विश्वविद्यालय है और इंजीनियरिंग और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में विभिन्न स्नातक और स्नातकोत्तर कार्यक्रम प्रदान करता है। यह उच्च शिक्षा के लिए प्रसिद्ध है और उच्चतम स्तर के शिक्षा, अनुसंधान, और प्रशिक्षण की प्रदान करने के लिए जाना जाता है। इसमें कई विभाग हैं, जिनमें सिविल इंजीनियरिंग, मैकेनिकल इंजीनियरिंग, इलेक्ट्रिकल और इलेक्ट्रॉनिक्स इंजीनियरिंग, कंप्यूटर साइंस और इंजीनियरिंग, और बायोटेक्नोलॉजी शामिल हैं।
एनआईटी तिरुचिरापल्ली छात्रों को अद्यतन किए गए पाठ्यक्रम, उद्यमिता के विकास, और अनुसंधान के लिए महत्वपूर्ण अवसर प्रदान करता है। यह विभिन्न विशेषज्ञता क्षेत्रों में छात्रों को तैयार करता है और उन्हें तकनीकी क्षेत्र में नवीनतम विज्ञान और प्रौद्योगिकी की जानकारी प्रदान करने का लक्ष्य रखता है।
संस्थान में १३ विभाग हैं और यह सिविल इंजीनियरिंग, कम्प्यूटर विज्ञान इंजीनियरिंग, विद्युत और इलैक्ट्रॉनिक्स इंजीनियरिंग, मैकेनिकल इंजीनियरिंग, इलैक्ट्रॉनिक्स और संचार इंजीनियरिंग, धातुकर्मीय उत्पादन इंजीनियरिंग, रसायन इंजीनियरिंग, इंस्ट्रूमैन्टेशन और कंट्रोल इंजीनियरिंग, विषयों में चार वर्षीय अवर स्नातक पाठयक्रमों और बी.आर्क. में पांच वर्षीय पाठयक्रम का संचालन करता है। इस संस्थान को एआईसीटीई गुणवत्ता सुधार स्कीम के तहत विभिन्न स्नातकोत्तर पाठयक्रमों और डाक्टोरल पाठयक्रमों के लिए अन्य शैक्षिक संस्थानों से शिक्षकों को प्रवेश देने के लिए भी मान्यता दी गई है।
इतिहास
तिरुचिरापल्ली में रीजनल इंजीनियरिंग कॉलेज की स्थापना 1964 में भारत सरकार और तमिलनाडु की सरकार के बीच एक सहकारिता उद्यम के रूप में की गयी थी। इसका मकसद देश की तकनीकी जनशक्ति की जरूरतों को पूरा करना था। तेजी से विकास से लक्ष्य को हासिल करने के लिए कॉलेज को वित्तीय और प्रशासनिक मामलों में स्वायत्तता प्रदान की गयी थी। 2003 में इस संस्थान को यूजीसी/एआईसीटीई की मंजूरी के साथ डीम्ड विश्वविद्यालय का दर्जा दिया गया और इसका नाम बदलकर नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी कर दिया गया। संस्थान के मौजूदा अध्यक्ष अशोक लेलैंड लिमिटेड के श्री आर. सेशासाई हैं जिन्हें इस जिम्मेदारी के लिए 2005 में चुना गया था। डॉ॰ एम. चिदंबरम 2005 से ही संस्थान के निदेशक बने हुए हैं। यह संस्थान मौजूदा समय में विश्व बैंक द्वारा वित्त पोषित तकनीकी शिक्षा गुणवत्ता सुधार कार्यक्रम (टेक्निकल एजुकेशन क्वालिटी इम्प्रूवमेंट प्रोग्राम) (टीईक्यूआईपी) के जरिये तीव्र विकास के दौर से गुजर रहा है।
- यह संस्थान तिरुचिरापल्ली के बाहरी इलाके में 800 एकड़ के परिसर में स्थित है।
- यहां 13 विभाग हैं और कई स्नातक और स्नातकोत्तर कार्यक्रमों की पेशकश की जाती है।
- यह संस्थान सिविल इंजीनियरिंग, कंप्यूटर साइंस इंजीनियरिंग, इलेक्ट्रॉनिक्स और कम्युनिकेशन इंजीनियरिंग, मैकेनिकल इंजीनियरिंग, और रसायन इंजीनियरिंग जैसे विषयों में चार साल के अंडरग्रेजुएट कोर्स कराता है।
- यह संस्थान कई तरह के सांस्कृतिक और तकनीकी कार्यक्रम आयोजित करता है।
- एनआईटी त्रिची में अनुसंधान गतिविधियों के लिए कई शैक्षणिक संस्थानों, सरकारी संगठनों, और कंपनियों के साथ समझौता ज्ञापन (एमओयू) किए गए हैं।
- एनआईटी त्रिची के छात्रों को कई बड़ी कंपनियों में अच्छा प्लेसमेंट मिलता है।
- एनआईटी त्रिची में मास्टर ऑफ़ कंप्यूटर एप्लीकेशन (एमसीए) कोर्स भी कराया जाता है।